लंदन6 मिनट पहले
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मशहूर सिंगर जस्टिन बीबर ने हाल ही में सोशल मीडिया पर अपनी कुछ तस्वीरें और वीडियो शेयर किए थे। इनमें बीबर ने बताया कि वो एक गंभीर बीमारी से ग्रस्त हो गए हैं। इस बीमारी को रामसे हंट सिंड्रोम कहा जाता है। इसे अर्ली स्टेज में पहचानकर इलाज चालू न किया जाए तो इसके गंभीर परिणाम हो सकते हैं।
बेडफोर्ड में रहने वाले स्टेज मैनेजर मैट कार्नी को भी बीबर वाली बीमारी हुई थी। मैट बताते हैं कि जब उन्होंने रहस्यमयी लक्षणों का पहला अनुभव किया, तब उन्हें कान में दर्द शुरू हो गया। दर्द ऐसा जैसा पहले कभी नहीं हुआ। दर्द निवारक दवाओं का कोई असर नहीं हुआ और एक दिन जब वे घर जा रहे थे, तो उनका चेहरा एक तरह से लटक गया था। दो दिनों में उनका चेहरा पूरी तरह से लकवाग्रस्त हो गया था।

जस्टिन बीबर ने सोशल मीडिया पर अपनी कुछ तस्वीरें शेयर कर बताया कि वे रामसे हंट सिंड्रोम से पीड़ित हैं।
वायरल इन्फेक्शन है रामसे हंट सिंड्रोम
रामसे हंट सिंड्रोम एक तरह का वायरल इन्फेक्शन है, जो वैरिसेला जोस्टर वायरस से होता है। 33 वर्षीय कार्नी के लिए सबसे मुश्किल चीज पलक झपकने में असमर्थ होना था। वे कहते हैं, “मुझे पलक झपकने के लिए अंगुलियों के सहारे आंख बंद करना और खोलना पड़ता है। अपनी आंखों को सूखने से रोकने के लिए अपनी पलक को नीचे खींचकर मैन्युअल रूप से झपकाने के लिए हर 20 मिनट में आई ड्रॉप्स को अपनी आंखों में डालना पड़ता था।”
“मुझे सोने के लिए रात में आंखें बंद करके टेप लगाना पड़ता था। गर्मी में बाहर टहलते हुए मेरी आंखें हवा के कारण कुछ ही सेकंड में सूखने लगती थी। संभावना है कि अगर मुझे जल्दी ही एंटीवायरल मिल जाते, तो मैं पूरी तरह से लकवे से बच जाता।”
यूके में एक साल में 25,000 नए मामले
ईस्ट ग्रिंस्टेड में क्वीन विक्टोरिया अस्पताल में सलाहकार प्लास्टिक सर्जन चार्ल्स नदुका के मुताबिक, रामसे हंट सिंड्रोम प्रति 1,00,000 में लगभग पांच मामले होते हैं। अनुमान है कि यूके में एक साल में इस तरह का चेहरा होने के लगभग 25,000 नए मामले हैं। इसमें से एक तिहाई लोग पूरी तरह से कभी ठीक नहीं हो पाए।